Home Ayodhya/Ambedkar Nagar अयोध्या अत्याचार निवारण की समीक्षा बैठक में 59 लाभार्थियों को दी गई स्वीकृति

अत्याचार निवारण की समीक्षा बैठक में 59 लाभार्थियों को दी गई स्वीकृति

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अंबेडकर नगर। जिलाधिकारी सैमुअल पॉल एन की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट कार्यालय में अनुसूचित जाति/ जनजाति (अत्याचार निवारण) योजना समीक्षा बैठक आयोजित किया गया। बैठक के दौरान जिलाधिकारी द्वारा अनुसूचित जाति/जनजाति उत्पीड़न प्रकरणों का सापेक्षिक वर्षों में तुलनात्मक विवरण,लंबित आवेदन पत्र के संबंध में समीक्षा, भुगतान की नई व्यवस्था के संबंध में समीक्षा की गई। अनुसूचित जाति/जनजाति के व्यक्तियों के आर्थिक हितों के लिए अनुच्छेद 275 में भी ग्रान्ट इन एड आदि की व्यवस्था है। अनुसूचित जाति राष्ट्रीय शक्ति एवम विकास निगम तथा राष्ट्रीय कर्मचारी आयोग भी कार्यरत है। अनुच्छेद 334 में दी गयी व्यवस्था के104वें0 संविधान संशोधन के द्वारा लोक सभा तथा विधान सभाओं में अनुसूचित जाति/जनजाति का आरक्षण 2030 तक बढ़ा दिया गया है। अनुच्छेद 23 के बैगार / बंधुआ मजदूरी का निषेध किया गया है। अनुच्छेद 6(4) तथा 46 तथा 355 में पाजिटिव प्रोटेक्शन की व्यवस्था दी गयी है।अनुच्छेद 330 में लोकसभा तथा 332 में विधान सभा में स्थान आरक्षित किए गये है। अनुच्छेद 338 में अनुसूचित जाति / जनजाति आयोग बनाए जाने की व्यवस्था दी गयी है। अनुच्छेद 341, 342 में अनुसूचित जाति तथा जनजाति की सूची दी गयी है।गैर अनुसूचित जाति के व्यक्तियों के अत्याचार से प्रभावित अनुसूचित जाति / जनजाति के परिवारों को उनकी क्षति के आकलन के आधार पर श्रेणीवार विभिन्न दरों की सहायता राशि देय है। क्षति के आकलन संबंधी प्रपत्र पुलिस अधीक्षक के माध्यम से प्रस्ताव स्वीकृति की कार्यवाही की जाती है। गाली-गलौज, मारपीट, किसी महिला का लज्जा भंग करना, महिला का लैंगिक शोषण करना हत्या आदि पर एक लाख से सवा आठ लाख तक का भुगतान दिये जाने का प्राविधान है। बैठक के दौरान जिलाधिकारी द्वारा संबंधित अधिकारी को निर्देशित किया गया कि पीड़ित लाभार्थियों को जल्द लाभ दिलाया जाना सुनिश्चित किया जाए।स्वीकृत के दौरान एक रेप,12 पेंशन, 6 छेड़खानी व 30 अन्य प्रकरणों सहित कुछ 49 प्रकरण हेतु 59 लाभार्थियों पर स्वीकृति हुई। पूर्व में 229 की स्वीकृति और भुगतान हो चुका है। 49 नवीन प्रस्ताव पर संयुक्त निदेशक अभियोजन, पुलिस विभाग तथा अन्य सम्बन्धित के साथ परीक्षण किया गया। यह निर्णय लिया गया कि आवेदकों को जैसे जैसे आवंटन प्राप्त होगा भुगतान कर दिया जाय। बैठक के दौरान परियोजना निदेशक राकेश प्रसाद, संयुक्त निदेशक अभियोजन, जिला समाज कल्याण अधिकारी, जिला प्रोबेशन अधिकारी, जिला पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी तथा संबंधित विभाग के अधिकारी/ कर्मचारी मौके पर उपस्थित रहे

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