अंबेडकरनगर । तुम्हारी शायरी का पैग़ाम पहुंच रहा है दुनिया में जिज्ञासु । यही कारण है जो हर इक महफ़िल को तलाश है तुम्हारी ।। चर्चित कवि व मंच संचालक डॉ० तारकेश्वर मिश्र जिज्ञासु का यह शेर उनकी अदबी क़ैफ़ियत को बयां करता है । शैक्षिक साहित्यिक एवं सामाजिक गतिविधियों के केंद्र में जिज्ञासु दस्तक देते हुए नज़र आते हैं । अपनी सोच के पैमाने को साकार करने की एक मुहिम चला रहे हैं जिज्ञासु । विद्यालय परिसर हो या सेवित क्षेत्र या कवि सम्मेलन मुशायरा एवं सांस्कृतिक कार्यक्रमों का मंच हर ऐसे अवसर पर पूरे जोश एवं जज्बे के साथ अपना किरदार निभाते आ रहे हैं जिज्ञासु । अब तक जिज्ञासु की दर्जनों किताबें प्रकाशित हो चुकी हैं जिसमें व्यक्तिगत एवं साझा काव्य संग्रह शामिल है । सामाजिक साहित्यिक एवं सांस्कृतिक गतिविधियों की सक्रियता के चलते जिज्ञासु को कई संस्थाओं द्वारा सम्मान मिल चुके हैं । हाल ही में उत्तर प्रदेश के रायबरेली जनपद में वरिष्ठ कवि शिवनाथ सिंह के संयोजन में पुस्तक विमोचन समारोह एवं अखिल भारतीय कवि सम्मेलन आयोजित किया गया जिसमें जिसमें विशिष्ट अतिथि के रूप में डॉ० तारकेश्वर मिश्र जिज्ञासु की सहभागिता रही । उक्त कार्यक्रम में वरिष्ठ कवि श्री शिवनाथ सिंह के साथ अन्य साहित्यकारों की पुस्तकों का विमोचन किया गया । पुस्तक विमोचन व कवि सम्मेलन में देश व प्रदेश के कवियों एवं साहित्यकारों का संगम रहा । कार्यक्रम में रायबरेली काव्य रस साहित्यिक मंच के संरक्षक सुधीर श्रीवास्तव , अध्यक्ष इंद्रेश भदोरिया , महासचिव छोटेलाल सिंह , इंद्रजीत त्रिपाठी निर्भीक , जयशंकर सिंह , जयशंकर सिंह , प्रेम प्रकाश श्रीवास्तव , हरिनाथ शुक्ला , सुनीता श्रीवास्तव , कुमारी शशि जायसवाल , जगत नारायण मिश्र , ओमप्रकाश द्विवेदी ओम , श्री निर्दोष जैन लक्ष्य , रईस सिद्दीकी एवं अन्य कवियों की उपस्थिति रही । उक्त कार्यक्रम में आयोजन समिति के द्वारा डॉ० तारकेश्वर मिश्र जिज्ञासु को काव्य रस साधक सम्मान से विभूषित किया गया । जिज्ञासु के समान पर शिक्षकों , कवियों , साहित्यकारों एवं समाजसेवियों द्वारा सोशल मीडिया पर बधाई एवं शुभकामनाओं का सिलसिला जारी है