अंबेडकर नगर । सोमवार को महिला शरणालय, अयोध्या में, महिलाओं के अधिकार विषय पर विधिक साक्षरता शिविर का आयोजन कोविड-19 महामारी को दृष्टिगत रखते हुए जारी दिशा-निर्देशों के अन्तर्गत किया गया। इस विधिक साक्षरता शिविर में कमलेश कुमार मौर्य, अपर जिला जज/सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, श्रीमती कविता, स्टाफ नर्स, नारी शरणालय, अयोध्या एवं अन्य द्वारा प्रतिभाग किया गया।
शिविर को सम्बोधित करते हुये अपर जिला जज ने महिलाओं के अधिकार के सम्बन्ध में जानकारी देते हुए बताया कि महिलाओं को हक प्रदान करने के लिए संविधान में कई कानून पारित किये गये हैं। इसी क्रम में महिलाओं को अपने हक के लिए जागरूक करने के लिए इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया है। महिलाओं का उत्थान सिर्फ गोष्ठियों के आयोजन करने से उनके हक की लड़ाई नहीं लड़ी जा सकती है। यदि समाज में बदलाव लाना है तो सर्वप्रथम स्वयं को बदलना होगा। हम महिलाओं के हक की लड़ाई अपने घर से ही शुरू करें।उन्होंने बताया कि आज भ्रूण हत्या हमारे समाज को कलंकित कर रहा है जिसके कारण हमारा लिंगानुपात घटता जा रहा है। लिंगानुपात में कमी न आने पाये इसके लिए हम सबको जिम्मेदारी उठानी होगी। संविधान द्वारा महिलाओं को कुछ प्रमुख अधिकार दिये गये है जिनमें महिलाओं के लिये समान वेतन का अधिकार, घरेलू हिंसा के खिलाफ अधिकार कन्या भ्रूण हत्या के खिलाफ अधिकार निःशुल्क कानूनी सहायता के लिये अधिकार। इसके अतिरिक्त जिला कारागार में निरूद्ध विचाराधीन बंदियों के हितार्थ विशेष लोक अदालत का आयोजन किया गया।