जलालपुर अम्बेडकर नगर। सरकारी कोटे की दुकान के चुनाव के दौरान चुनाव अधिकारियों के मौजूदगी मे धांधली का आरोप लगा कर दो पक्षो मे कहासुनी के बाद मामला मारपीट मे तब्दील हो गया । मारपीट में ब्राहमण वर्ग के कई लोग घायल हो गए। सूचना पर पहुंचे मालीपुर पुलिसकर्मियों ने डंडा पटक भीड़ को खदेड़ दिया। मौके से तीन लोगों को हिरासत में लेकर थाना लाई। घटना मालीपुर थाना के कैथी नसीरपुर गांव में घटित हुई।
अकबरपुर ब्लॉक के कैथी नसीरपुर गांव की सरकारी राशन की दुकान बीते कई माह से निलंबित चल रही है।इसी दौरान ग्रामीणों की शिकायत पर उपजिला मजिस्ट्रेट ने बीडीओ अकबरपुर को चुनाव कराने का आदेश दिया था। गुरुवार को एडीओ पंचायत एडीओ आईएसबी ग्राम पंचायत अधिकारी आदि की देखरेख में चुनाव की प्रक्रिया शुरू की गई।यह राशन की दुकान पहले सामान्य जाति के लिए था जिसे बदलकर अनुसूचित जाति के लिए कर दिया गया। इधर चुनाव अधिकारी चुनाव कराने पर अड़े रहे उधर दूसरा पक्ष न्यायालय में दायर वाद का हवाला देकर चुनाव निरस्त करने की मांग करने लगा। आरोप है कि ग्राम पंचायत अधिकारी जेपी वर्मा ने चार लड़ने वाले लोगों का नाम नोट कर उन्हें चुनाव लड़ने के लिए अधिकृत कर दिया। चुनाव लड़ने वालों में अनिल कुमार, वेद प्रकाश, अजय कुमार और पूजा भारती ने अपना अपना दावा कर दिया। चुनाव अधिकारी ने गिनती के आधार पर वेद प्रकाश को जीतने की घोषणा कर दी। जीत की घोषणा होते ही हो हल्ला शुरू हो गया। ब्राहमण वर्ग और दलित वर्ग के लोग आमने सामने आ गए। ब्राहमण वर्ग के लोग पुनः गिनती कराने की मांग कर चुनाव अधिकारी पर मिलीभगत का आरोप लगाने लगे। दोनों पक्ष एक दूसरे से भिड़ गए।इसी दौरान चुनाव अधिकारी अपना रिकॉर्ड लेकर भाग निकले। चुनाव में भारी बवाल की सूचना पर मालीपुर थानाध्यक्ष फोर्स के साथ पहुंचे। पुलिस के डंडा पटकते ही भीड़ भागने लगी। मारपीट में कई लोग चोटहिल हो गए।मौके पर मिले राकेश तिवारी पुत्र राम बदन , अवनीश शुक्ल पुत्र भारत प्रसाद और दलित अभिषेक पुत्र पवन को हिरासत में लेकर थाना लाई।
गलत चुनाव का आरोप लगा जिलाधिकारी को भेजा शिकायती पत्र
ग्रामीणों ने एडीओ पंचायत हंस प्रकाश सिंह और ग्राम सचिव जेपी वर्मा के ऊपर नियम विपरीत प्रधान पक्ष के कैंडिडेट को चुनाव जितवाने का आरोप लगा कर जिलाधिकारी को शिकायती पत्र भेजा है। जिलाधिकारी को भेजे गए पत्र में गांव के अनिल कुमार, पूजा भारती, राम गोपाल, अवधेश कुमार, सर्वेश समेत दर्जनों ने आरोप लगाया कि उक्त दोनों अधिकारी ग्राम प्रधान की सह पर गलत चुनाव कराने पर आमदा थे। गिनती के समय दूसरे पक्ष में बैठे मतदाताओं की गिनती जबरिया जीतने वाले के पक्ष में करा दी गई। जब इसका विरोध शुरू हुआ तो अधिकारी भाग निकले।
पूर्व कोटेदार ने लगाया आरोप
कुछ माह पहले घटतौली के आरोप की जांच की गई थी। जांच से पहले दुकान को निलंबित कर दिया गया था। जांच पक्ष में थी किन्तु अधिकारियों को गुमराह कर चुनाव की डेट फ़िक्स कर दी गई।जब चुनाव तिथि की जानकारी हुई तो उच्च न्यायालय में वाद दायर किया गया है जिसकी सूचना फैक्स के माध्यम से सभी अधिकारियों को भेजी गई है। मालीपुर थाना अध्यक्ष आशुतोष शर्मा ने बताया कि एक पक्ष से एक लोगों को तथा दूसरे पक्ष से तीन लोगों को हिरासत में लिया गया।