Home Ayodhya/Ambedkar Nagar अयोध्या अयोध्या के गोवंश आश्रय स्थलों में 11793 पशु है संरक्षित

अयोध्या के गोवंश आश्रय स्थलों में 11793 पशु है संरक्षित

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अयोध्या। कलेक्ट्रेट सभागार में जिलाधिकारी नितीश कुमार ने निराश्रित गोवंश संरक्षण हेतु चलाये जा रहे विभिन्न कार्यक्रम एवं स्थापित गो आश्रय स्थलों की स्थिति ज्ञात किये जाने हेतु नामित मण्डलीय नोडल अधिकारी निदेशक प्रशासन एवं विकास पशुपालन विभाग उत्तर प्रदेश डा0 इन्द्रमणि के साथ निराश्रित गोवंशों के संरक्षण के संबंध में चलाये जा रहे कार्यक्रमों की समीक्षा की।
बैठक में जिलाधिकारी ने खण्ड विकास अधिकारियों के अपने-अपने क्षेत्र के निराश्रित गो आश्रय स्थलों को और बेहतर संचालन सुनिश्चित कराने साथ ही उन्हें स्वावलंबी बनाने हेतु योजना बनाने तथा उसे लागू कराने के निर्देश दिये। जिलाधिकारी ने सभी खंड शिक्षा अधिकारियों को पशुचर की भूमि पर वृहद पैमाने पर हरे चारे की बुवाई कराने के निर्देश दिये। तथा सभी गौशालाओं को मॉडल के रूप में विकसित व संचालित करने के निर्देश दिये।
इस अवसर पर निदेशक प्रशासन एवं विकास पशुपालन विभाग उत्तर प्रदेश लखनऊ ने कहा कि प्रदेश को निराश्रित गोवंश से मुक्त करना शासन की शीर्ष प्राथमिकताओं में है। उन्होंने जनपद में संचालित आश्रय स्थलों में उपलब्ध सुविधाओं की सराहना की। उन्होंने कहा कि आश्रय स्थलों में गोवंशों के रहने, छाया, चारे, (भूसा तथा हरा) टीकाकरण एवं उपचार सम्बंधित व्यवस्थाएं ठीक पाई। उन्होंने कहा कि किसी आश्रय स्थल में किसी प्रकार की समस्या के पाये जाने पर मुख्य विकास अधिकारी, जिलाधिकारी महोदय व शासन स्तर पर अवगत करायें। सभी प्रकार की समस्याओं का तत्काल समाधान किया जायेगा।
उन्होंने कहा कि जनपद अयोध्या में गोवंश आश्रय स्थलों में संरक्षित गोवंश लक्ष्य 11503 के सापेक्ष 11793 पशु संरक्षित हैं। जनपद में 06 सचल पशु चिकित्सालय (मोबाइल बैटनरी) उपलब्ध है, जिनके द्वारा बीमार घायल पशुओं को तत्काल चिकित्सीय सुविधा उपलब्ध करायी जाती है। किसी भी पशु के घायल होने पर टोल फ्री डायल हेल्पलाइन नम्बर 1962 पर सूचित करें। मोबाइल बैटनरी तत्काल मौके पर चिकित्सीय सुविधा उपलब्ध करायेगी।
इस अवसर पर निदेशक द्वारा आश्रय स्थल में शत प्रतिशत टीकाकरण नियमित करते रहने उन्हें पीने के पानी व चारे तथा उपचार के सम्बंध में विस्तृत जानकारी प्रदान की गयी। उन्होंने पशुओं का मृत्यु के उपरांत नियमानुसार तत्काल दफनाना सुनिश्चित करने को कहा। उन्होंने कहा कि अधिकारीगण ग्रामों में भ्रमण के दौरान पशुपालकों के पशुओं के टीकाकरण की जानकारी अवश्य लें यदि उनके पशुओं को टीकाकरण नहीं हुआ है तो मुख्य चिकित्सा अधिकारी या सम्बंधित पशु चिकित्साधिकारी को सूचित करें तथा सम्बंधित अधिकारी शत प्रतिशत पशुओं का टीकाकरण समय पर सुनिश्चित करें।
इस अवसर पर निदेशक व अन्य अधिकारियों ने पशुपालन विभाग द्वारा संचालित विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की भी जानकारी प्रदान की गयी तथा अधिक से अधिक लोगों को योजनाओं से लाभान्वित करने के निर्देश दिये गये। बैठक में मुख्य पशु चिकित्साधिकारी ने जिलाधिकारी व निदेशक व अन्य अधिकारियों द्वारा प्राप्त निर्देशों व सुझावों का अनुपालन सुनिश्चित कराने हेतु आश्वस्त किया। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी अनिता यादव, एसडीएम सदर विशाल कुमार, एसडीएम बीकापुर केके सिंह, पीडी डीआरडीए, डीसी मनरेगा, समस्त बीडीओ, जिला कृषि अधिकारी, अपर निदेशक पशुपालन सहित अन्य सम्बंधित विभाग के अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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