जलालपुर, अंबेडकर नगर। उपजिलाधिकारी न्यायालय जलालपुर में भूमि सीमांकन से संबंधित एक वाद में फर्जी हस्ताक्षर कर आदेश पोर्टल पर अपलोड करने के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। तत्कालीन उपजिलाधिकारी सदानंद सरोज की तहरीर पर पुलिस ने तत्कालीन पेशकार के विरुद्ध धोखाधड़ी समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उसे हिरासत में लेकर जांच शुरू कर दी है।
मामला प्रकाश में तब आया जब एसडीएम जलालपुर ने वर्तमान में भीटी के एसडीएम सदानंद सरोज को सूचित किया कि उनके नाम से 3 सितंबर 2024 को एक आदेश न्यायालय में पारित दिखाया गया है, जो कि उच्च न्यायालय में इंट्रक्शन दाखिल करने हेतु किया गया था। इस सूचना के बाद सदानंद सरोज ने संबंधित पत्रावली का अवलोकन किया, जिसमें पाया गया कि उनका फर्जी हस्ताक्षर कर आदेश को आरसीसीएस पोर्टल पर अपलोड किया गया है।
उन्होंने स्पष्ट किया कि दस्तावेज़ पर किया गया हस्ताक्षर उनका नहीं है, बल्कि तत्कालीन पेशकार शिवपूजन द्वारा अपने अधिकारों का दुरुपयोग करते हुए लॉगिन आईडी का गलत इस्तेमाल कर आदेश अपलोड किया गया। इस गंभीर अनियमितता की सूचना पर पुलिस ने तत्काल कार्रवाई करते हुए पेशकार शिवपूजन को हिरासत में लिया और धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं में मामला दर्ज किया।
कोतवाल संतोष कुमार सिंह ने पुष्टि की कि आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर विस्तृत जांच शुरू कर दी गई है। प्रशासनिक तंत्र में इस प्रकार की फर्जीवाड़ा सामने आने से न्यायिक कार्यों की पारदर्शिता पर सवाल खड़े हुए हैं। पुलिस अब पूरे मामले की तह तक जाकर दोषी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की तैयारी में जुटी है।