अयोध्या। अवध विश्वविद्यालय केंद्रीय पुस्तकालय 1985 में स्थापित किया गया था। शुरुआत में डॉ. केके सक्सेना, लाइब्रेरियन ने एक कैटलॉगर एसके सिंह और कई अन्य स्टाफ सदस्यों के साथ पुस्तकालय शुरू किया। उस समय केवल 4 विभाग थे जो भौतिकी और इलेक्ट्रॉनिक्स, गणित और सांख्यिकीय, इतिहास और संस्कृति, अर्थशास्त्र और शहरी विकास थे। प्रारंभ में पुस्तकालय में केवल इन विभागों से संबंधित पुस्तकें 0 से 4000 तक शुरू होती थीं। 2001 में, केंद्रीय पुस्तकालय को अपने स्वयं के भवन में स्थानांतरित कर दिया गया। इस भवन का नाम बदलकर अब महामना मदन मोहन मालवीय केंद्रीय पुस्तकालय कर दिया गया है और प्रोफेसर डॉ. आर.के. सिंह को लाइब्रेरियन नियुक्त किया गया है। अब पुस्तकालय में कुल पुस्तकों की संख्या लगभग 1,79,798 है। पुस्तकालय में वाईफाई और ई-जर्नल्स, कंप्यूटर लैब की सुविधा भी है। लाइब्रेरी को अब पूरी तरह से डिजिटलाइज किया जा रहा है। प्रोफेसर डॉ. आर.के. सिंह ने बताया कि विश्वविद्यालय में लाइब्रेरी पूरी तरीके से डिजिटल है। सभी विषय की पुस्तकें उपलब्ध है बच्चों को डिजिटल रूप से भी अध्ययन करने का मौका मिलता है।