जलालपुर, अंबेडकर नगर। ग्राम हजपुरा में हृदय मणि मिश्र के आवास पर आयोजित श्रीमद् भागवत कथा के प्रथम दिन कथा व्यास राजेश निर्मोही ने श्रद्धालुओं को श्रीकृष्ण भक्ति की महिमा बताते हुए कहा कि श्रीमद् भागवत कथा संसार के भय को दूर करने वाली, मृत्यु के भय को समाप्त करने वाली एवं भगवान के चरणों में अनुराग उत्पन्न करने वाली है। उन्होंने कहा कि कलयुग में यह कथा अमृत के समान है और यह भगवान श्रीकृष्ण का साक्षात स्वरूप मानी जाती है।
कथा व्यास ने श्रद्धालुओं से कहा कि भागवत कथा का श्रवण, मनन और ध्यान करने से न केवल इस संसार में सुख की प्राप्ति होती है, बल्कि परलोक में भी उत्तम गति मिलती है। उन्होंने कहा कि कई जन्मों के पुण्य उदय होने पर ही इस पावन कथा को सुनने का सौभाग्य प्राप्त होता है।
मानव जन्म के महत्व को रेखांकित करते हुए उन्होंने कहा कि जब किसी जीव के पाप और पुण्य बराबर हो जाते हैं, तभी उसे मानव जीवन प्राप्त होता है। लेकिन जो इस जीवन में भगवान के चरणों में अनुराग नहीं करता, वह वास्तव में पशु के समान है।
राजेश निर्मोही ने बताया कि सतयुग, त्रेता और द्वापर में यज्ञ, तप और पूजा से जो फल मिलता था, वह कलयुग में भगवत नाम संकीर्तन से सहज रूप से प्राप्त किया जा सकता है। श्रीमद् भागवत कथा व्यक्ति को सत्मार्ग पर चलने की प्रेरणा देती है।
कथा के मुख्य यजमान हृदय मणि मिश्र ने कथा व्यास राजेश निर्मोही का स्वागत किया। इस अवसर पर प्रेमा देवी, डॉ. राजेश मिश्रा, बृजेश मिश्रा सहित अनेक श्रद्धालु उपस्थित रहे। यज्ञ के आचार्य दुर्गेश पांडे, बृजेंद्र पांडे समेत अन्य आचार्यगण भी आयोजन में शामिल हुए।