अयोध्या। उत्तर प्रदेश विधान परिषद की दैवीय आपदा प्रबन्धन जांच समिति के सभापति उमेश द्विवेदी के सभापतित्व में एक समिति का गठन किया गया है। इस समिति के अन्तर्गत आज अयोध्या मण्डल के 4 जनपदों जनपद अयोध्या, अम्बेडकरनगर, सुल्तानपुर व अमेठी की बैठक आपदा के सम्बंध में तैयारी करने सम्बंधी आयोजित की गयी थी।
इस समिति की जनपद बाराबंकी की बैठक 21 जुलाई को हो चुकी है तत्क्रम में यह समिति की दूसरी मण्डल में बैठक है। समिति में विधानसभा के सम्मानित वरिष्ठ सदस्य कुंवर अक्षय प्रताप सिंह, लाल बिहारी यादव, सुरेन्द्र चौधरी आदि ने भाग लिया तथा इसकी बैठक सर्किट हाउस के बैठक हाल में की गयी। इसमें सर्वप्रथम मण्डल से आये हुये चारों जनपद के अधिकारियों का परिचय प्राप्त किया गया।
अयोध्या जनपद की बैठक का विवरण अपर जिलाधिकारी वित्त राजस्व महेन्द्र कुमार सिंह द्वारा किया गया। इस बैठक में समिति द्वारा राजस्व, चिकित्सा स्वास्थ्य, गृह/पुलिस विभाग, सूचना विभाग (प्रचार प्रसार), बेसिक शिक्षा विभाग, माध्यमिक शिक्षा विभाग, प्राविधिक शिक्षा, कृषि विभाग, ऊर्जा विभाग, नगर विकास, नगर निगम, नगर पंचायत, नगर पालिका परिषद, पंचायत विभाग, लोक निर्माण विभाग, खाद्य एवं रसद विभाग, आयुष विभाग आदि के कार्यो की समीक्षा की गयी। बैठक में सभापति ने कहा कि समिति का मुख्य उद्देश्य जनोपयोगी कार्यो को आम जनता तक गुणवत्ता के साथ समय से पहुंचाने की कार्यवाही करना है तथा अधिकारियों को एक निश्चित कार्ययोजना के तहत संवेदनशीलता के साथ कार्यो को आगे बढ़ाना है। इस क्रम में आज समिति की राजस्व विभाग के समीक्षा के कार्यो में बताया कि आपदा से प्रभावित जिन व्यक्तियों को सहायता दिया जाता है उसका नाम एवं तिथिवार विवरण रखा जाय। चिकित्सा विभाग के कार्यो की समीक्षा में बताया कि आपदा के समय ज्यादातर ग्रामीण क्षेत्रों में साप के काटने से मौत होती है इसके लिए व्यापक प्रचार प्रसार किया जाय तथा शासनादेश के अनुसार सांप के काटने के बचाव सम्बंधी दवाई की पर्याप्त व्यवस्था किया जाय तथा उसका जिला चिकित्सालय, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पर उसके बोर्ड लगाये जाय तथा सांप के काटने के सम्बंध में जागरूकता के लिए कार्य किया जाय। चिकित्सा विभाग द्वारा सांप से काटने पर मृतक का पोस्टमार्टम किया जाय, जिससे कि नियमानुसार उनके आश्रितों को मुआवजा मिल सकें। सिंचाई विभाग के कार्यो की समीक्षा में बताया कि बाढ़ से चिंहाकित जो 18 गांव है उनके तहसीलवार जनधन की हानि का विवरण विगत वर्षो की तैयारी के साथ साथ एक निश्चित कार्ययोजना के तहत कार्य किया जाय। पुलिस विभाग के आपदा का विवरण पुलिस अधीक्षक ग्रामीण अतुल कुमार सोनकर द्वारा दिया गया। उसमें बताया गया कि हमारे जनपद के थानों के अलावा शहर में नयाघाट पर एक प्लाटून कमाण्डर के साथ सिविल पुलिस एवं जल पुलिस की उपलब्धता है तथा नावों के अलावा मोटर बोर्ड तैनात रहते है तथा कोई भी चुनौती के सामना के लिए तैयार रहते है। इस पर समिति ने कुम्भ मेले प्रयाग के तर्ज पर यहां भी जल पुलिस आदि की व्यवस्था करने हेतु आवश्यक कार्यवाही करने को कहा। सूचना विभाग की समीक्षा में उपनिदेशक सूचना डा0 मुरलीधर सिंह ने बताया कि स्थानीय स्तर पर सूचना विभाग द्वारा विज्ञप्ति के माध्यम से आपदा बचाव के कार्यो का प्रचार प्रसार किया जाता है तथा सूचना निदेशक उ0प्र0 लखनऊ द्वारा व्यापक स्तर पर आपदा बचाव सम्बंधित विज्ञापनों के माध्यम से प्रचार प्रसार किया जाता है। इस पर समिति के सदस्यों ने कहा कि इस पर और प्रचार प्रसार की शासन एवं स्थानीय स्तर पर आवश्यकता है। इस पर प्रभावी कार्यवाही किया जाय तथा अस्पतालों में विशेष रूप से सर्पदंश से बचाव आदि के उपायों का उल्लेख किया जाय। बेसिक शिक्षा, माध्यमिक शिक्षा में विशेष सुधार के निर्देश दिये जिसके तहत मातृ शक्ति का सम्मान बढ़े एवं उनके मातृत्व अवकाश एवं प्रसूत अवकाश लेने में कोई दिक्कत न हों तथा अनावश्यक रूप से अध्यापकों को परेशान मत किया जाय। प्रोन्नति वेतनमान एवं चयनित वेतनमान में शासनादेशों का समय से उपलब्ध करायें जाय। विद्यालयों में छात्रों का पंजीकरण एवं उपस्थिति आदि मिड-डे-मिल योजना को सफलता से गुणवत्ता के साथ संचालित किया जाय।
इस बैठक में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा0 संजय जैन, अपर जिलाधिकारी प्रशासन अमित सिंह, जिला विकास अधिकारी आर0पी0 पाल, अपर नगर आयुक्तगण, उपनिदेशक सूचना डा0 मुरलीधर सिंह, विभिन्न विभागों के अधिकारी, अभियन्ता तथा समिति के साथ आये हुये तेज प्रताप उपसचिव विधान परिषद, मयंक यादव समीक्षा अधिकारी विधान परिषद के अतिरिक्त विभिन्न विभागों के अधिकारी/प्रतिनिधि गण उपस्थित रहे।