Saturday, November 23, 2024
HomeAyodhya/Ambedkar Nagarअम्बेडकर नगरविधानसभा के बाद निकाय चुनाव में भी मिथिलेश की कप्तानी में हारी...

विधानसभा के बाद निकाय चुनाव में भी मिथिलेश की कप्तानी में हारी भाजपा

Ayodhya Samachar

  • मतदाताओं ने दिखाया भाजपा नेताओं को आईना

  • गंवाया बड़ी पालिका, बड़ी नगर पंचायत पर कब्जे से करना पड़ा संतोष

अम्बेडकरनगर। हाल ही में संपन्न निकाय चुनाव के परिणाम ने जिले के भाजपा नेताओं को आइना दिखाया है। एक बार फिर डा. मिथिलेश त्रिपाठी की कप्तानी में पार्टी को नुकसान हुआ हैं। बीते विधानसभा के चुनाव में दो से सिफर पर पहुंचे भगवा खेमे को निकाय चुनाव में एक नगर पालिका के बजाय एक नगर पंचायत तक सीमित कर दिया है। यह अलग बात है कि सबसे बड़ी नगर पंचायत गंवाने के बाद सबसे बड़ी नगर पंचायत की चेयरमैनी हाथ लगी है।
नगर पंचायत अशरफपुर किछौछा में पहली बार कमल खिला है। इस चुनाव में पार्टी के भीतर घात ने भारी नुकसान पहुंचाया है। जिले में सात नगर निकाय सीटें है, जिसमें से तीन निर्दल प्रत्याशियों पर जनता ने भरोसा जताया है। वहीं एक बसपा और दो सीट सपा के खाते में जनता ने डाला है। किछौछा की जीत को एतिहासिक मानने में कोई संकोच नहीं है लेकिन नव सृजित नगर निकाय जहांगीरगंज में भाजपा तीसरे स्थान पर थी जो पार्टी के लिए अच्छा संकेत नहीं हैं। आलापुर विधानसभा से विधायक रहीं अनीता कमल को निकाय अध्यक्ष का चुनाव लड़ाकर पार्टी ने सबसे बड़ी गलती की। और पार्टी की स्थिति पूरे जिले में मज़ाक का केंद्र तब बना जब एक निवर्तमान विधायक एक छोटे से चुनाव में तीसरे स्थान पर पहुंच गईं। बात करें अकबरपुर निकाय की तो यहां सरिता गुप्ता को भाजपा ने टिकट देकर चुनाव लड़ाया लेकिन यहां भी भाजपा तीसरे स्थान पर रही और जनता ने निर्दल प्रत्याशी चंद्र प्रकाश वर्मा पर भरोसा जताया। चंद्र प्रकाश वर्मा भी बसपा से टिकट न मिलने से नाराज थे और उन्होंने पार्टी का विरोध करते हुए निर्दल चुनाव लडने का फैला किया था जिसमें उन्हें सफलता मिली। चर्चा थी कि टिकट बटवारे में अप्रत्यक्ष रूप से जिला अध्यक्ष ने बीट बांट रखा था। जिसके विधान सभा में जो निकाय है वहां की जिम्मेदारी भाजपा से विधान सभा चुनाव लड़ चुके प्रत्याशियों की थी। पूर्व जिलाध्यक्ष कपिल देव वर्मा हो या वर्तमान जिला अध्यक्ष मिथिलेश त्रिपाठी, दोनों की कप्तानी में भाजपा को भारी नुकसान उठाना पड़ा है। शिव नायक वर्मा की कप्तानी में भाजपा ने जिले की दो सीटों पर कब्जा किया था जिसमें टांडा और आलापुर सीट शामिल थी। निकाय चुनाव में एक बार फिर भाजपा को करारी हार मिली है जिसको लेकर शीर्ष नेतृत्व ने जिला कमेटी में बदलाव करने का मूड बनाना शुरू कर दिया है। चर्चा है कि जल्द ही जिला अध्यक्ष की कुर्सी पर किसी अन्य को बैठाने पर विचार चल रहा है।


इल्तिफातगंज में भाजपा नेता की प्रतिष्ठा ने फांकी धूल


भाजपा के लिए इल्तिफातगंज निकाय सीट सुरक्षित थी लेकिन भाजपा के कद्दावर नेता की एक छोटी सी गलती ने पूरा चुनाव खराब कर दिया। लोग कहते हैं कि यहां भाजपा नेता और सपा विधायक लालजी वर्मा की प्रतिष्ठा दांव पर लगी थी। लेकिन आरोप है कि पुलिस द्वारा सत्ता पक्ष के दबाव में आकर लोगों को परेशान किया गया। वे सभी एक जुट होने को मजबूर हो गए। यही कारण रहा कि लालजी वर्मा ने मौके का फायदा उठा कर अपने प्रतिष्ठा में चार चांद लगा लिया। अफवाह या सच – नगर के प्रतिष्ठित चिकित्सक इरफान अहमद को स्वास्थ्य विभाग द्वारा अस्पताल बंद करवाने को लेकर धमकाया गया। इस कृत्य का भी गलत मैसेज जनता के बीच में गया है। वहीं बेलाल जैसे झोलाछाप चिकित्सक से भाजपा के पक्ष में मतदान करने के लिए वीडियो वायरल करवाया गया। जिसकी नाराजगी जनता के बीच थी।

Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar
Ayodhya Samachar

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

RELATED ARTICLES

Most Popular

Recent Comments