अयोध्या। नमाज अदा करने जा रही 40 वर्षीय ज़मीन फातिमा की ज़िंदगी एक हादसे में थम सी गई थी, जब बैशाखी फिसलने से वह ज़मीन पर गिर पड़ीं। यह हादसा 9 अप्रैल को हुआ। जन्म से पोलियो ग्रस्त ज़मीन फातिमा रोज़ की तरह नमाज पढ़ने जा रही थीं, लेकिन अचानक फिसलने से उनका संतुलन बिगड़ गया और वह ज़ोर से गिर पड़ीं। इस हादसे में उनका कूल्हा और हाथ कई जगह से टूट गया।
परिजन उन्हें लेकर कई निजी अस्पतालों में गए, लेकिन महंगे इलाज का खर्च उठाना उनके बस में नहीं था। ऐसे में वे मायूस होकर जिला अस्पताल पहुंचे, जहां उनकी मुलाकात हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ. आशीष श्रीवास्तव से हुई। डॉ. आशीष श्रीवास्तव और उनकी टीम ने केस की गंभीरता को समझते हुए तुरंत ऑपरेशन की तैयारी की। 16 अप्रैल को ऑपरेशन सफलतापूर्वक किया गया। डॉ. आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि महिला का कूल्हा कई हिस्सों में टूट चुका था, जिससे मामला बेहद जटिल था। लेकिन टीमवर्क और सही तकनीक से महिला की सर्जरी पूरी की गई। इससे पहले भी उसके आपरेशन की तैयारी की गई थी। लेकिन उस समय महिला के बेहोश न होने के कारण आपरेशन नही हा पाया था।
ज़मीन फातिमा धीरे-धीरे स्वस्थ हो रही हैं। उनके चेहरे पर फिर से मुस्कान लौट आई है। यह सिर्फ़ एक सफल ऑपरेशन नहीं, बल्कि इंसानियत और समर्पण की मिसाल है।