अंबेडकरनगर। न्यायालय के आदेश पर पुलिस ने धोखाधड़ी, कूट रचित दस्तावेज तैयार करने समेत अन्य गंभीर धाराओं में पुलिस ने ग्राम पंचायत सचिव, सहायक विकास अधिकारी, शाखा प्रबंधक व अभिकर्ता के खिलाफ पुलिस ने नामजद मुकदमा पंजीकृत किया है। मामला अकबरपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत मीरपुर शेखपुर गांव का है।
मीरपुर शेख निवासी नीता सिंह ने आरोप लगाया था कि उनके पति की मृत्यु दस माह पूर्व संदिग्ध परिस्थितियों में हो गई थी। पीड़िता व उसके पति के बीच न्यायालय में विवाद चल रहा था। जिसके दौरान उसके पति ने इस तथ्य को स्वीकार किया था कि पीड़िता व उनकी एक विवाहित पुत्री पुत्री ललिता सिंह है। पीड़िता का नाम मकान नंबर 39 ए मौज मीरपुर शेखपुरा के अभिलेखों में बतौर पत्नी दर्ज है और उसके पति अपने जीवन काल में हिंदू विवाह अधिनियम के तहत उसके विरुद्ध न्यायालय में मुकदमा किया था तथा पीड़िता ने भरण पोषण व घरेलू हिंसा तथा दहेज प्रथा का मुकदमा दर्ज कराया था। उक्त मुकदमे में भी उन्होंने पीड़िता को अपनी पत्नी होना स्वीकार किया था। पीड़िता ने तत्कालीन ग्राम पंचायत सचिव रत्नेश कुमार यादव व सहायक विकास अधिकारी प्रभात सिंह प्रमाणित प्रति के रूप में परिवार रजिस्टर की नकल बीते 19 सितंबर 2022 को प्राप्त किया था जिसमे पीड़िता का नाम अंकित था। विपक्षीगण आपसी रंजिश के तहत पीड़िता को विजय प्रताप सिंह की बारिस न बनाने हेतु परिवार रजिस्टर के अभिलेखों में कूट रचित ढंग से उसके अतिरिक्त नीरज सिंह पत्नी स्वर्गीय विजय प्रताप सिंह का भी नाम अंकित कर दिया। जिसकी शिकायत पीड़िता ने उच्चाधिकारियों से किया था। इसके बावजूद सहायक विकास अधिकारी व सचिव पर दबाव बनाकर कूटरचित ढंग से दूसरी पत्नी का नाम नीरज सिंह के रूप में परिवार रजिस्टर में बीते 30 सितंबर 2022 को दर्ज कर दिया। पीड़िता का यह भी आरोप है कि उसके पति के नाम भारतीय जीवन बीमा शाखा अकबरपुर में एक लाख रुपए की पॉलिसी व दूसरी पॉलिसी चार लाख रूपए की चल रही थी। पति के मृत्यु 6 अगस्त 2022 को हो जाने के उपरांत 28 सितंबर 2022 को भारतीय जीवन बीमा निगम के शाखा प्रबंधक दूधनाथ वर्मा के कार्यालय में मृत्यु क्लेम दाखिल किया। जिसकी जानकारी होने के बावजूद भी शाखा प्रबंधक को अभिकर्ता 8 अक्टूबर 2022 को उपरोक्त पॉलिसियों को पीड़िता के पति के खाते में पालिसी को आत्मसमर्पण के आधार पर बीमा धनराशि को स्थानांतरित कर दिया और उक्त तिथि को ही विपक्षी उदय प्रताप सिंह व धीरेंद्र प्रताप सिंह ले पीड़िता के पति के एटीएम से उनकी मृत्यु के पश्चात 90 हजार रुपये निकाल लिया। पीड़िता ने अकबरपुर थाने में वा पुलिस अधीक्षक को शिकायती पत्र दिया था लेकिन कोई कार्रवाई न होने पर न्यायालय का दरवाजा खटखटाया। न्यायालय के आदेश के बाद अकबरपुर थाने में ग्राम पंचायत अधिकारी रत्नेश कुमार, प्रभात सिंह सहायक विकास अधिकारी अकबरपुर, उदय प्रताप सिंह, धीरेंद्र प्रताप सिंह पुत्रगण शिव सहाय सिंह निवासी मीरपुर शेखपुरा चंद्रावती पत्नी शिव सहाय भारतीय जीवन बीमा निगम के शाखा प्रबंधक दूधनाथ वर्मा, भारतीय जीवन बीमा निगम के अभिकर्ता ऋषिकेश वर्मा के खिलाफ 420 467 468 471 506 आईपीसी के तहत मुकदमा पंजीकृत कर लिया है।