अयोध्या। तिलकूट चतुर्थी के अवसर पर दर्जनों महिलाओं को सियाराम चैरिटेबल ट्रस्ट के द्वारा कम्बल का वितरण किया गया। सर्वे भवन्तु सुखिनः के सिद्धान्त को आत्मसात करते हुए भगवान गणेश जी से देश के प्रत्येक व्यक्ति के निरोगी, सुखी व समृद्ध होने की कामना भी की गयी।
सियाराम चैरिटेबल ट्रस्ट के अध्यक्ष रामानुज सिंह रामा ने बताया कि माघ माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को हम तिलकुट चौथ कहते है। इस दिन भगवान गणेश की पूजा आराधना की जाती है। महिलाएं अपने संतान की लम्बी आयु के लिए इस व्रत को रखती है। इसको लेकर कई पौराणिक कथाएं भी प्रचलित है। वर्तमान में शीतलहरी का प्रकोप काफी ज्यादा है। ऐसे में माताओं को शीतलहरी के कारण वाली दिक्कतों को दूर करने के लिए कम्बल व शाल का वितरण किया गया।
उन्होने बताया कि भगवान गणेश प्रथम पूज्य देवता है। विघ्नहर्ता श्री गणेश के ध्यान मात्र से सभी कष्ट दूर हो जाते है। हमारे पौराणिक ग्रंथों में तिलकूट चौथ का काफी महत्व है। इस अवसर पर देश के प्रत्येक व्यक्ति का विकास करने के साथ भारत को पुनः विश्वगुरु बनाने की कामना भगवान गणेश से की गयी। उन्होने कहा कि गरीबों व जरुरतमंदों की सेवा सबसे बड़ा मानवधर्म है। समाज के हर समृद्ध व्यक्ति को इसके लिए आगे आना चाहिए। रामायण का अध्ययन हमें इसी कर्तव्य पथ चलने की प्रेरणा देता है। इस अवसर पर शरद कुमार पाण्डेय, मनोज कुमार सिंह, रेखा, दीपक पाण्डेय, महेन्द्र प्रताप सिंह सहित स्थानीय लोगो की उपस्थिति रही।